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किस पाप के कारण होती है अकाल मृत्यु जानिए गरुड़ पुराण के अनुसार | Garud Dharmarth

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Автор: Garud Dharmarth

Загружено: 2022-11-02

Просмотров: 23026

Описание: किस पाप के कारण होती है अकाल मृत्यु जानिए गरुड़ पुराण के अनुसार | Garud Dharmarth


Full video summary in hindi :-
एक बार फिर से स्वागत है आप सभी का हमारे इस यूट्यूब चैनल गरुड़ धर्मार्थ पर, आप लोगों ने यह जरूर देखा होगा कि किसी की मृत्यु ऐक्सिडेंट की वजह से हो जाती है तो कोई रास्ते पर चलते हुए गिरकर मर जाता है। वहीं कुछ लोग ऐसे होते हैं जो पानी में गिरकर खत्म हो जाते हैं,जबकि कुछ लोग ऐसे होते हैं जो पहाड़ से गिरकर मृत्यु को प्राप्त जाते हैं,कई प्रकार के ऐसे कारण होते हैं जिसकी वजह से लोगों की मृत्यु हो जाती है, यानी कि उनकी मृत्यु सामान्य रूप से नहीं होती है। जिस प्रकार एक व्यक्ति अपने बिस्तर पर ही प्राण त्याग देता है,उसे सामान्य मौत कहा जाता है,लेकिन जब किसी की मृत्यु दुर्घटना की वजह होती है या किसी की मृत्यु पानी में डूबने की वजह से हो, तो उसे सामान्य मृत्यु नहीं कहा जाता । लोगों का मानना है कि ऐसी मृत्यु को अकाल मृत्यु की श्रेणी में रखा गया है,यानी कि उसे अकाल मृत्यु कहा जाता है,शास्त्र भी इसका समर्थन प्रदान करते हैं,आज की विडिओ में इसी टॉपिक पर चर्चा करेंगे कि आखिर शास्त्रों के मुताबिक अकाल मृत्यु क्यों हो होती है। तो चलिए शुरू करते हैं, दोस्तों जब किसी की मृत्यु ऐक्सिडेंट की वजह से होती है तो लोग कहते हैं कि अगर वह व्यक्ति वहाँ ना गया होता तो उसका एक्सीडेंट नहीं हुआ होता और वह आज जिंदा होता, अगर किसी की मृत्यु पानी में डूबने की वजह से हो जाती है। तो लोग कहते हैं कि अगर वह व्यक्ति उस तालाब में नहाने के लिए ना गया होता तो आज हमारे बीच में होता लेकिन दोस्तों ऐसा सिर्फ लोगों का कहना ही है, वास्तव में ऐसा कुछ नहीं होता,क्योंकि इस धरातल पर जन्म लेने वाले प्राणी की मृत्यु पहले से ही लिख दी गयी है। यानी कि मनुष्य अपना भाग्य मृत्यु पहले से ही लिखवाकर आता है, यह बात आपको स्पष्ट रूप से समझ जानी चाहिए कि व्यक्ति की मृत्यु अपने पूर्वजन्म के कर्मों के आधार पर टिकी होती है, लेकिन दोस्तों फिर भी कहा जाता है अकाल मृत्यु की वजह से व्यक्ति प्राण त्याग गया । कौनसा कारण होता है कि अकाल मृत्यु हो जाती है,वह कौन सा पाप करता है जिसकी वजह से उसे अकाल मौत मरना पड़ता है,आज की इस वीडियो में इसी टॉपिक पर चर्चा करेंगे इसलिए विडिओ को अंत तक देखिए और चैनल पर नये हैं तो अभी चैनल को Subscribe कर लें, तो चलिए जानते हैं इसके पीछे की कहानी,आज इसी को समझने का प्रयास करते हैं, दोस्तों रामचरित्र मानस के बालकांड में एक प्रसंग साफ शब्दों में लिखा हुआ है जिसे कि एक उदाहरण के माध्यम से आप को समझाने का प्रयास करते हैं । एक राजा था,जिसका नाम भानु प्रताप था,एक बार उसके महल में कुछ साधु, संत और ब्राह्मण भोजन करने के लिए आए,राजा ने बड़े प्रेम से साधु संतों का सत्कार किया और उन्हें भोजन के लिए आमंत्रित करके आसन ग्रहण करने का निवेदन किया, लेकिन राजा का जो रसोइया था वह राक्षस था,यानी कि वह सहायक का भेष बदलकर रसोई में घुस गया और खाना बनाने वाले लोगों के बीच में शामिल हो गया,उसने साधु संतों को परोसे जाने वाले खाने में मांस के टुकड़े भी रख दिये, जब साधु संतों और ब्राह्मणों ने थालियों में मांस का टुकड़ा देखा वे सभी के सभी क्रोधित हो गए और उस राजा को श्राप दे डाला कि तू सदा के लिए राक्षस बन जा,तब राजा भानु विचार करते हैं कि अगर मैंने इन ब्राह्मणों को खाने पर नहीं बुलाया होता तो श्राप नहीं मिलता और मैं राक्षस नहीं बनता शायद मेरे ऊपर से यह बुरी घड़ी टल जाती,दोस्तों वहीं राजा भानु प्रताप अगले जन्म में रावण बन जाता है, रामचरित्र मानस में जो लिखा है उसका अर्थ है भाग्य का लिखा नहीं मिटाया जा सकता,यानी किसी भी प्रकार से भाग्य को बदला नहीं जा सकता । जिसकी मृत्यु जिस जगह पर जिस तारीख को और जिस कारण से होगी वह सब पहले से ही निश्चित किया रहता है,चाहे वह अपने घर के बिस्तर पर पड़े पड़े मरे या फिर किसी सड़क दुर्घटना के कारण उसकी मृत्यु होनी हो,चाहे कोई भी कारण हो दोस्तों मृत्यु पहले से ही तय रहती है । इसलिए हमारे देश के साधु संतों का यह कहना है कि किसी भी व्यक्ति की मृत्यु पर किसी अन्य व्यक्ति को शोक नहीं करना चाहिए क्योंकि यह निश्चित है और सृष्टि का नियम है फिर भी लोग कहते हैं कि उसकी अकाल मृत्यु हो गई । दोस्तों लोगों का मानना है कि अकाल मृत्यु होने पर उसे भटकना पड़ता है,और हमारे शास्त्र भी इसका समर्थन करते हैं कि यदि किसी व्यक्ति की मृत्यु उसकी आयु से पहले हो जाती है तो उसका समय पूर्ण होने तक उसे इधर से उधर भटकना पड़ता है। इसके इलावा बता दें कि मृत्यु और अगला जन्म आपके कर्मों पर निर्भर करती है,जो अच्छा कर रहा है उसे अगले जन्म में अच्छा प्राप्त होगा और जो बुरा कर रहा है उसके अगले जन्म में खराब रिज़ल्ट प्राप्त होगा, अकाल मृत्यु एक भ्रम मानें तो गलत नहीं होगा । क्यों कि अकाल मृत्यु जैसा कुछ नहीं होता और सब तरह की मृत्यु आपके किये जाने वाले कर्मों और आधारित है, और अगर किसी की मृत्यु होती है किसी घटना की वजह से तो वो होके ही रहती चाहे लाख कोशिश कर लें, जो लिखा है वो नहीं टाला जा सकता है । आशा है कि आज की इस वीडियो में दी जानकारी आपको अच्छी लगी होगी, सो इसी के साथ वीडियो समाप्त करते हुए आपसे विदा लेते हैं और मिलते हैं ऐसी ही एक और नई वीडियो में, धन्यवाद

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